केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने उच्च दक्षता वाले सौर पीवी मॉड्यूल में गीगा वाट (जीडब्ल्यू) पैमाने की विनिर्माण क्षमता प्राप्त करने के लिए उत्पादन आधारित प्रोत्साहन योजना (पीएलआई) को मंजूरी दी है। गीगा वाट स्तर की उत्पादन क्षमता हासिल करने के लिए 19,500 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने बुधवार को ‘उच्च दक्षता वाले सौर पीवी मॉड्यूल पर राष्ट्रीय कार्यक्रम’ को मंजूरी प्रदान की।
मंत्रिमंडल के फैसलों की जानकारी देते हुए केन्द्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने बताया कि योजना का उद्देश्य उच्च दक्षता वाले सौर पीवी मॉड्यूल के उत्पादन से जुड़ा तंत्र स्थापित करना है। योजना के तहत लाभ पाने वाले पीवी उत्पादकों का चयन पारदर्शी तरीके से किया जाएगा।
योजना का लाभ बताते हुए ठाकुर ने कहा कि इससे प्रत्यक्ष तौर पर 94 हजार करोड़ का निवेश प्राप्त होगा। ईवीए, सोलर ग्लास, बैकशीट आदि सामग्री के संतुलन के लिए निर्माण क्षमता तैयार होगी। लगभग 65 हजार मेगावाट प्रति वर्ष पूर्ण और आंशिक रूप से एकीकृत सौर पीवी मॉड्यूल की विनिर्माण क्षमता स्थापित की जा सकेगी।
उन्होंने कहा कि इससे लगभग 1.95 लाख का प्रत्यक्ष और लगभग 7.80 लाख व्यक्तियों को अप्रत्यक्ष रोजगार प्राप्त होगा। लगभग 1.37 लाख करोड़ रुपये का आयात कम होगा। सौर पीवी मॉड्यूल में उच्च दक्षता प्राप्त करने के लिए अनुसंधान और विकास को प्रोत्साहन मिलेगा।