“मैं उसे काफी दिनों से प्यार करता था। हम लोग वॉट्सऐप पर बातचीत करते थे। जब वह स्कूल जाती थी, तो हमारी मुलाकात होती थी। बुधवार की रात काे मैंने उसे मिलने के लिए बुलाया था। वॉट्सऐप कॉल पर बातचीत हुई। वह रात करीब 12 बजे मुझसे मिलने के लिए आई। मैं उसे अपनी गाड़ी में बैठाकर सुनसान जगह पर ले गया, वहां काफी देर तक बातचीत की।
वह शादी का दबाव बनाने लगी। उसने घर जाने से मना कर दिया। वह कहने लगी अब घर नहीं जाऊंगी। हमारी बहुत बदनामी होगी। मैंने उसे बार-बार घर जाने के लिए कहा, लेकिन वह नहीं मानी। इसीलिए एक दोस्त को बुलाकर उसे कुचलकर मार दिया।” यह कबूलनामा है उन्नाव के सफीपुर में दलित छात्रा की हत्या करने वाले प्रेमी का। पुलिस ने लड़की के प्रेमी पिंटू और उसके दोस्त रोहित को गिरफ्तार कर लिया है।
जानिए पूरा मामला…रेप के बाद कार से कुचलकर की गई थी छात्रा की हत्या
उन्नाव में गुरुवार सुबह दलित लड़की का शव शराब ठेके के पास और पुलिस चौकी से 50 मीटर दूर सड़क पर पड़ा मिला। शव वाहन से कुचले जाने के कारण क्षत-विक्षत हो गया था। जैसे ही परिजनों को लड़की के शव के बारे में पता चला। गांव, परिवार और रिश्तेदारों ने परियर हाईवे पर जाम लगा दिया। सूचना मिलते ही पुलिस टीम मौके पर पहुंच गई थी।
पहले ग्रामीणों ने पुलिस पर लापरवाही का आरोप लगाया। परिजनों का कहना था कि हमें बिना जानकारी दिए शव को पोस्टमॉर्टम के लिए क्यों भेज दिया गया? पुलिस को पहले आस-पास के क्षेत्र में शिनाख्त करानी चाहिए थी। परिजनों ने आरोप लगाया कि बेटी की गैंगरेप के बाद गाड़ी से कुचलकर हत्या की गई है। पुलिस ने मामला हल्का करने के लिए शव को मौके से हटा दिया। पुलिस ने किसी तरह से मामला शांत कराया था। इसके बाद गांव के ही चार अज्ञात लोगों पर गैंगरेप और हत्या का केस दर्ज कराया था। लड़की 9वीं की छात्रा थी।
प्रेमी को उसके गांव से रात में पुलिस ने उठाया
गुरुवार दोपहर से गैंगरेप के बाद हत्या का मुकदमा दर्ज होने के बाद से ही पुलिस सक्रिय हो गई थी। जांच के दौरान पुलिस को एक फोन रिकॉर्डिंग मिली। जिसमें पिंटू ने हत्या के बाद तीन बजे अपनी किसी परिचित के फोन से किसी दोस्त को पूरी कहानी सुनाई। उसके बाद वह सो गया। लेकिन उसकी यह बात रिकॉर्ड हो गई थी। इसके आधार पर पुलिस ने सबसे पहले गुरुवार की रात को पिंटू को उसके घर से उठा लिया। पूछताछ में उसके दोस्त रोहित का नाम सामने आया।
मोबाइल से मिली दिल्ली की लोकेशन, दो को यहां से उठाया था
पुलिस के मुताबिक, रोहित भी गुरुवार की रात पहले अपने घर पहुंचा, लेकिन जैसे ही सुबह गांव वालों ने रोड जाम कर हंगामा शुरू कर दिया। इससे वह डर गया और गुरुवार सुबह ही दिल्ली निकल गया। लेकिन इस बीच उसने अपने एक दो जानने वालों को फोन किया, जिससे उसकी लोकेशन ट्रेस हो गई। इसी आधार पर उन्नाव पुलिस की एक टीम दिल्ली भेजी गई। दिल्ली से पुलिस ने पिंटू के दोस्त रोहित को उठाया। जब दोनों पकड़ में आ गए तो पूरा मामला खुल गया।
पुलिस ने परिजनों के आरोप के अनुसार, पिंटू के अलावा दो और लड़कों को उठाया था, उनसे भी घंटों पूछताछ हुई। लेकिन उन्हें छोड़ दिया गया। परिजन इस बात का आरोप लगा रहे हैं कि पुलिस मिलीभगत कर रही है। सभी आरोपियों पर कार्रवाई नहीं कर रही है।
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जब भी मिलने को बुलाता, तो वह शादी की जिद करती
हत्यारोपी पिंटू ने पुलिस को बताया, “गांव की रहने वाली लड़की से मेरा प्रेम-प्रसंग चल रहा था। हम एक दूसरे को काफी समय से जानते थे। हमारे कुछ दोस्त भी हमारे प्यार के बारे में जानते थे। अक्सर दोस्त उसके बारे में बात किया करते थे। हम दोनों ज्यादातर बातें वॉट्सऐप कॉल पर करते थे। हमारे घरवालों को इस बात की कोई जानकारी नहीं थी। जब भी मैं उसको मिलने के लिए बुलाता था, तो वह शादी की जिद करती थी।
वह कहती थी कि यदि घरवालों को पता चल जाएगा, तो हम कहीं के नहीं रह जाएंगे। बुधवार की रात को मैंने उसे करीब 11.30 पर वॉट्सऐप कॉल करके बुलाया था। वो मुझसे मिलने के लिए अपनी मां व भाई को बिना बताए निकल आई। वो मुझे बदरी प्रसाद कॉलेज के पास मिली। जहां से मैं उसे अपनी गाड़ी में बैठाकर ले गया। कुछ दूर चलने पर HP गैस एजेंसी के पास एक सुनसान रोड पड़ती है।”
‘मैं उसे प्यार करता था पर शादी नहीं कर सकता था’
पिंटू ने बताया, ”मैंने अपनी गाड़ी वहीं खड़ी कर दी। हम दोनों काफी देर बात करते रहे। वह मुझसे घर से भाग जाने के लिए कह रही थी। इसी बीच उसके बड़े पापा का फोन मेरे मोबाइल पर आ गया। इससे मैं घबरा गया। मैंने फोन की बात लड़की को बता दी। इस पर वो बहुत डर गई। उसने कहा कि अब अगर घर जाऊंगी, तो बहुत बदनामी हो जाएगी। अब हम कहीं भाग चलते हैं।
मेरी समझ में कुछ नहीं आ रहा था। मैं उससे प्यार तो करता था पर शादी नहीं कर सकता था। इसीलिए मैंने उसे रास्ते से हटाने की सोची। इसके लिए मैंने अपने दोस्त रोहित को फोन किया। वह मुझे अपनी ओमिनी वैन लेकर पुल के पास आकर मिला। हम दोनों ने वहीं पर लड़की की हत्या की साजिश रची। मैंने उससे कहा कि मैं लड़की को समझाकर रोड पर उतारूंगा। तुम उसे अपनी वैन से कुचल देना।”
टक्कर मारकर गिराया, फिर कुचल दिया
हत्यारोपी ने बताया, ”हमने इसी प्लानिंग के तहत काम शुरू कर दिया। मैंने लड़की को परियर बाजार में दीपिका साड़ी सेंटर के पास उतारा। जैसे ही वह उतरकर सड़क पार करने लगी। मैंने गाड़ी से उसे टक्कर मार दी। जिससे वह सड़क पर गिर गई। इसके बाद पीछे से मेरे दोस्त रोहित ने भी उसके ऊपर कार चढ़ा दी। इससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई। मैं और दोस्त वहां से फरार हो गए।”
पिंटू ने घटनास्थल से थोड़ा आगे जाकर गाड़ी के पहिए धुले थे
पुलिस की पड़ताल के अनुसार, हत्या के दिन पिंटू शादी के नाम पर गाड़ी बुकिंग करके ले गया था। उसने रात 12 बजे के आस पास अपनी दोस्ती और प्यार का हवाला देकर घर से बुलाया। हालांकि इतनी रात में घर से निकलने पर लड़की ने पहले इनकार किया। बाद में पिंटू ने अपनी कसम खिलाई उसी के भरोसे पर लड़की घर से निकल गई। बड़ी बात यह है कि गाड़ी से कुचलकर हत्या करने के बाद पिंटू ने घटनास्थल से थोड़ा आगे जाकर गाड़ी के पहिए धुले।
तीन दिन तक नहीं हुआ था लड़की का अंतिम संस्कार
घटना के तीसरे दिन पिता के आने पर परिजनों ने आत्मदाह की धमकी भी दी। शनिवार को विरोध प्रदर्शन के बीच लड़की के पिता और चाचा को पुलिस लेकर गई। उनके कोतवाली से लौटने के बाद ही परिजन अंतिम संस्कार को माने। इसके बाद दादी–बाबा के कब्र के पास लड़की को दफनाया गया था। लड़की का पिता कुवैत में काम करते हैं।
भाई ने लगाया था गैंगरेप के बाद हत्या का आरोप
लड़की के भाई का आरोप था, “रात 12.30 हमारी बहन घर से गायब हो गई थी। इसके बाद रात भर हम पागलों की तरह ढूंढते रहे, लेकिन बहन का कहीं पता नहीं चला। मेरी बहन को बहाने से बुलाकर चार लोग ईको गाड़ी में उठाकर ले गए। पहले उसकी बहुत बेइज्जती की फिर उसे पीटा। उसके साथ गलत काम करके, उसके प्राइवेट पार्ट में तेजाब डाला गया। उसके बाद सड़क पर डालकर उसी ईको गाड़ी से चार बार कुचला गया। जिससे वो वहीं मर गई। इसके बाद थोड़ी दूर पर जाकर ईको गाड़ी के पहिए धोए गए।”
मां ने बताई थी लड़की के घर से लापता होने की कहानी…
“मैं मेरी बेटी और दोनों बेटे रात को खाना खाकर घर में ही सोने की तैयारी कर रहे थे। मेरी बेटी मेरे पास लेटी थी, जबकि बेटे अगल-बगल लेटे थे। मेरा एक बेटा बड़ा है, दूसरे नंबर पर बेटी है। तीसरा बेटा बेटी से भी छोटा है। हम लोग एक दूसरे से बातचीत कर रहे थे।
इसी बीच रात करीब 12 बजे के आस-पास उसके किसी जानने वाले का फोन आया। बात करने के बाद उसने फोन रख दिया। हमने सोचा किसी सहेली का फोन होगा, पढ़ाई लिखाई की बात कर रही होगी। मेरी बेटी के पास अपना फोन भी नहीं था, वह घर के फोन का ही इस्तेमाल करती थी। इसी बीच बेटी उठकर कहीं गई। हमने सोचा बाथरूम जा रही होगी। काफी देर तक जब नहीं आई तो मैं उठकर देखने निकली, वह कहीं दिखाई नहीं दी। हमने बेटे को आवाज लगाई, उसने बाहर निकलकर ढूंढना शुरू किया।
आस-पास कहीं भी बेटी दिखाई नहीं दी। हमारे मन में डर सताने लगा कहीं कोई अनहोनी तो नहीं हो गई। हम सब लोग बाहर निकलकर खेतों की ओर दौड़े, आस-पास के जितने भी खेत थे उनके अंदर तक हम लोग टॉर्च लेकर घूमते रहे। लेकिन बेटी कहीं नहीं मिली। आस-पास के लोग भी हमारी मदद को आए। हमारा बेटा सड़क की ओर भी गया लेकिन वहां भी कुछ नहीं पता चला।
हम रात को ही पुलिस के पास जाने की सोच रहे थे, लेकिन गांव वाले बोले-शायद कहीं गई हो तो सुबह तक आ जाए। कुछ पता न चलने पर थक हारकर लौट आए। सुबह जब हम पुलिस से शिकायत करने के लिए जाने वाले थे इसी बीच किसी ने बताया कि सड़क पर एक लड़की का शव मिला है। जब हम वहां पहुंचे तो भीड़ लगी हुई थी। लेकिन वहां पर कोई शव नहीं था।
पुलिस से पूछा तो उन्होंने बताया कि शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया गया है। इसके बाद हम लोग अस्पताल गए तो देखा हमारी बेटी बिना कपड़ों में थी। उसका शव क्षत विक्षत था। देखकर हमारी आत्मा कांप गई। शव को देखकर ही लग रहा था कि मेरी बेटी के साथ गलत काम हुआ है। गलत काम के बाद ही उसकी हत्या की गई है।”