जिला पंचायत चुनाव के दौरान सहायक संभागीय परिवहन विभाग शहर से टैक्सी गाड़ियां एकत्रित कर प्रशासन को सौंप रहा है। इसी कड़ी में जब एक महिला अधिकारी गाड़ियां अपने कब्जे में ले रही थी तो एक गाड़ी के चालक ने महिला अधिकारी के साथ बदसलूकी की। महिला अधिकारी ने उसे गाड़ी जमा कराने की बात कही थी, जिस पर वह भड़क गया और अभद्रता की।
जिला पंचायत चुनाव के लिए सेक्टर मजिस्ट्रेट को टैक्सी गाड़ियां उपलब्ध कराई जानी हैं। इसके लिए विभाग की चार टीमें गाड़ियां अधिग्रहण कर रही हैं। इनमें से परिवहन कर अधिकारी वरुणा सैनी भी चुनाव में लगने वाली गाड़ियों को कब्जे में लेने हरिद्वार गई थीं। इसी दौरान मौके पर एकत्र हुए कुछ गाड़ियों के स्वामियों और चालकों ने गाड़ी देने से इंकार कर दिया। इन लोगों का कहना था कि आने वाले दिनों में अब चारधाम यात्रा सीजन दोबारा चलना है। ऐसे में गाड़ियां यदि वे प्रशासन को चुनाव के लिए दे देंगे तो उनका काम-धंधा पूरी तरह से चौपट हो जाएगा। बताया जा रहा है कि इसी दौरान एक टैक्सी चालक गुस्से में आ गया। उसने वरुणा सैनी के साथ अभद्रता की। अधिकारी ने उसे सरकारी काम का हवाला भी दिया, लेकिन बताया जा रहा है कि उसने किसी की एक न सुनी। इसके बाद कुछ यूनियन के पदाधिकारियों ने उसे शांत किया और समझाया, जिसके बाद वह गाड़ी देने को राजी हो गया।
सहायक संभागीय परिवहन अधिकारी रत्नाकर सिंह ने बताया कि जिस तरह वाहन स्वामियों और ड्राइवरों की मजबूरी है, वैसे ही विभाग की भी अपनी मजबूरी है। चुनाव संपन्न कराने के लिए एआरटीओ विभाग द्वारा हमेशा से गाड़ियां दी जाती रही हैं। इस बार भी चुनाव के लिए गाड़ियां दी जानी हैं। इसी को लेकर गाड़ियों का अधिग्रहण किया जा रहा है लेकिन कुछ लोगों ने आज एक महिला अधिकारी के साथ बदसलूकी की। हालांकि बाद में वह मान गया। इस संबंध में कोतवाली हरिद्वार पुलिस को सूचना दे दी गई है।