ज्ञानवापी में नमाज के लिए हुजूम उमड़ा। इस दौरान दालमंडी में नारेबाजी की गई, इस पर उन्हें खदेड़ दिया गया। तीन जिलों की पुलिस ने मोर्चा संभाले रखा। सड़कों और गलियों में पुलिस-पीएसी और पैरामिलिट्री फोर्स के जवान रहे।
व्यासजी के तहखाने में पूजा-पाठ शुरू होने के विरोध में अंजुमन इंतेजामिया मसाजिद कमेटी की अपील पर शुक्रवार को ज्ञानवापी में नमाज पढ़ने के लिए नमाजियों का हुजूम उमड़ पड़ा। हालत यह हुई कि ज्ञानवापी मस्जिद में पैर रखने की भी जगह नहीं बची और पुलिस को नमाजियों को लौटाना पड़ा।
दोपहर बाद भीड़ ने दालमंडी में नारेबाजी कर माहौल गरमाने की कोशिश की तो पुलिस ने उन्हें खदेड़ दिया। इस दौरान दिन भर मुस्लिम इलाकों की दुकानें-कारखाने बंद और करघे व लूम खामोश रहे। मसाजिद कमेटी की अपील के मद्देनजर जिले भर में पुलिस और प्रशासनिक महकमा बृहस्पतिवार से ही हाई अलर्ट पर था।
शुक्रवार की सुबह हुई तो पुलिस, पीएसी और पैरामिलिट्री फोर्स के जवानों ने जिले भर में पैदल गश्त शुरू कर दी। मिश्रित आबादी वाले संवेदनशील इलाकों में पुलिस का विशेष रूप से फोकस रहा। गोदौलिया से चौक थाना मार्ग पर बांसफाटक और मणिकर्णिका प्रवेश द्वार पर बैरिकेडिंग की गई थी।
ज्ञानवापी के बाहर विश्वनाथ धाम के गेट नंबर 4 से लेकर चौतरफा डेढ़ से दो किलोमीटर के दायरे में सड़क, गलियों और भवनों की छतों पर फोर्स तैनात थी। ज्ञानवापी में नमाज खत्म हुई और लोग बाहर निकल कर जाने लगे तो लगभग 2:30 बजे दालमंडी में तकरीबन 250 लोगों की भीड़ ने नारेबाजी कर माहौल बिगाड़ने का प्रयास किया।
ज्ञानवापी में नमाज पढ़ने वालों की भारी भीड़ उमड़ने के बावजूद वहां आने वालों की संख्या में कमी नहीं आ रही थी। भीड़ का दबाव अत्यधिक बढ़ने पर पुलिस ने ज्ञानवापी की ओर आने वाले नमाजियों को मणिकर्णिका प्रवेश द्वार पर रोकना शुरू कर दिया। सभी से अपील की गई कि वह नजदीक की अन्य मस्जिदों में नमाज पढ़ने चले जाएं। भारी संख्या में फोर्स देखकर नमाजियों ने पुलिस अफसरों की अपील को गंभीरता से लिया और दूसरी मस्जिदों का रुख किया।
ज्ञानवापी स्थित व्यासजी के तहखाने में पूजा शुरू होने के विरोध में शुक्रवार को अंजुमन इंतेजामिया मसाजिद कमेटी की बंदी की अपील का असर शहर के मुस्लिम बहुल इलाकों में दिखा। ग्रामीण इलाकों में बंदी का कोई खास असर नहीं देखने को मिला है।