आयोग की टीम इस साल फरवरी में पश्चिम बंगाल के दौरे पर गई थी। इस दौरान जांच में चौंकाने वाले ये तथ्य सामने आए हैं। आयोग को यह जानकारी राज्य की संस्था कल्चरल रिसर्च इंस्टीट्यूट-सीआरआई से मिली है।
आयोग की टीम इस साल फरवरी में पश्चिम बंगाल के दौरे पर गई थी। इस दौरान जांच में चौंकाने वाले ये तथ्य सामने आए हैं। आयोग को यह जानकारी राज्य की संस्था कल्चरल रिसर्च इंस्टीट्यूट-सीआरआई से मिली है। इसके मुताबिक, राज्य में ओबीसी आरक्षण को दो भागों में बांटा गया है। इसमें कुल 179 जातियों को ओबीसी में शामिल किया गया है। इसमें ए वर्ग में अति पिछड़ों को रखा गया है। इसमें 89 में से 73 मुसलमान और कुल आठ हिंदू जातियां हैं। वहीं बी श्रेणी में पिछड़ी जातियों को रखा गया है, इसकी सूची में कुल 98 जातियां है। जिसमें 53 हिंदू और 45 मुसलमान जातियां हैं।
केंद्रीय सूची में शामिल करने की भी सिफारिश
आयोग के मुताबिक, प. बंगाल सरकार ने कई वर्गों को केंद्रीय सूची में शामिल करने के लिए भी सिफारिश भेजी है। इसमें राज्य ने आयोग को प्रस्ताव भेजा है।
पंजाब ने भी ओबीसी आरक्षण बढ़ाने का किया अनुरोध
आयोग के मुताबिक, पंजाब ने भी ओबीसी आरक्षण बढ़ाने के लिए अनुरोध किया है। पंजाब में इसे 12 से 25 फीसदी किया जाएगा। राज्य सरकार ने यादवों को भी ओबीसी में शामिल करने की सिफारिश की है। बृहस्पतिवार को राष्ट्रीय पिछड़ा आयोग के अध्यक्ष हंसराज अहीर ने बताया कि देशभर के राज्यों से ऐसी सिफारिशें आ रही हैं।