भारतीय वायुसेना में जल्द ही दो एयर-टू-एयर मिसाइल शामिल होने जा रही है. इनमें से एक मिसाइल की रेंज 160 किलोमीटर तक होगी, वहीं दूसरी मिसाइल हवा में ही 300 किलोमीटर की रेंज तक दुश्मन का सफाया कर देगी. ये दोनों मिसाइल स्वदेशी हैं. इन मिसाइलों के लॉन्च होने के बाद भारतीय वायुसेना की ताकत काफी बढ़ जाएगी.
2024 तक लॉन्च हो सकती हैं दोनों मिसाइल
हिंदुस्तान टाइम्स ने एयरफोर्स के एक अधिकारी के हवाला से बताया कि इम मिसाइलों के नाम अस्त्र Mk -2 और Mk -3 हैं. Astra Mk-2 अगले साल वहीं Mk-3 की साल 2024 में टेस्टिंग होने की संभावना है. ये प्रोजेक्ट रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) के लिए बेहद अहम है. अभी मौजूद Astra Mk-1 मिसाइल की रेंज 100 किमी तक है.
आत्मनिर्भरता की ओर माना जा रहा कदम
रक्षा मंत्रालय ने 31 मई को भारतीय वायु सेना और भारतीय नौसेना को अस्त्र एमके -1 मिसाइलों और संबंधित उपकरणों से लैस करने के लिए भारत डायनेमिक्स लिमिटेड (BDL) के साथ 2,971 करोड़ रुपये के अनुबंध पर हस्ताक्षर किए. इसे रक्षा निर्माण क्षेत्र में आत्मनिर्भरता का एक कदम माना जा रहा है. DRDO ने Astra Mk-1 और संबंधित सिस्टम के उत्पादन के लिए बीडीएल से टेक्नोलॉजी शेयर की है.
चीन को देगी मात
बता दें कि चीन ने एयर-टू-एयर मार करने वाली मिसाइल PL-15 डेवलेप किया है. इसकी रेंज 160 किमी तक है. इस मिसाइल को दुनिया की सबसे ताकतवर मिसाइलों में से एक माना जाता है. लेकिन अब भारत में बनने जा रही Astra मिसाइल इस मामले में चीन को मात देगी.
कई लड़ाकू विमानों में होगी शामिल
अधिकारियों ने कहा कि Astra Mk-1 मिसाइल को सुखोई-30 लड़ाकू विमानों के साथ पूरी तरह से एकीकृत कर दिया गया है और अब यह तेजस हल्के लड़ाकू विमान सहित अन्य लड़ाकू विमानों की क्षमताओं में इजाफा करेगी. साथ ही नौसेना के मिग-29K लड़ाकू विमान, जो भारत के आईएनएस विक्रमादित्य से संचालित होते हैं, Astra Mk-1 मिसाइल से लैस होंगे.
आशा खबर /रेशमा सिंह पटेल