हरियाणा में इन्फ्लुएंजा वायरस H3N2 की एंट्री हो गई है। जींद में 1 संक्रमित की मौत हो गई है। 10 अन्य लोगों के सैंपल जांच में पॉजिटिव मिले हैं। बढ़ते संक्रमण को देखते हुए सरकार अलर्ट मोड में आ गई है। स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने अस्पतालों में फ्लू वार्ड बनाने के निर्देश दिए हैं। साथ ही अस्पतालों में वायरस से बचाव को लेकर की जा रही तैयारियां पर अनिल विज नजर बनाए हुए हैं। उनका दावा है कि हरियाणा मेंइ एच3एन2 से लड़ने की तैयारियां पूरी कर ली हैं।
फ्लू के 40% मिल रहे मरीज
प्रदेश के अस्पतालों में 40 प्रतिशत लोगों में फ्लू के लक्षण देखने को मिल रहे हैं। डॉक्टरों का कहना है कि यह सामान्य संक्रमण है। किसी भी भयावह स्थिति से बचने के लिए हरियाणा के गृह एवं स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज ने राज्य के सभी सामुदायिक और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों और निजी अस्पतालों को अलर्ट पर रहने को कहा है, साथ ही अलग से फ्लू OPD भी शुरू करने के निर्देश दिए हैं।
इलाज के लिए प्रोटोकाॅल जारी
स्वास्थ्य विभाग की ओर से संक्रमण के इलाज के लिए एक प्रोटोकॉल भी जारी किया गया है। एंटीबायोटिक दवाओं के अत्यधिक उपयोग के प्रति आगाह किया है। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के अनुसार, इन्फ्लूएंजा ए और बी दोनों मामलों का प्रकोप अस्पतालों में दिख रहा है। इसके साथ ही क्रॉनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिजीज, अस्थमा और निमोनिया, दोनों बैक्टीरियल और वायरल के तीव्र प्रकोप के मरीज मिल रहे हैं।
संक्रमित होने के ये हैं लक्षण
संक्रमण होने पर रोगियों में खांसी, मतली, उल्टी, गले में खराश, बुखार, शरीर में दर्द और दस्त जैसे लक्षण देखे जा सकते हैं। तीन दिन के अंत में बुखार उतर जाता है, लेकिन खांसी तीन सप्ताह तक बनी रह सकती है। तेज बुखार और सांस लेने में तकलीफ वाले लोगों को तुरंत अस्पतालों में रिपोर्ट करने को कहा गया है।
बच्चों और बुजुर्गों को ज्यादा खतरा
स्वास्थ्य विभाग ने बच्चों और वरिष्ठ जनों में संक्रमण फैलने का खतरा ज्यादा बताया है। विभाग की ओर से बच्चों और वरिष्ठ नागरिकों और सह-रुग्णता वाले रोगियों को अलर्ट पर रखने को कहा गया है। आम फ्लू या इन्फ्लूएंजा संक्रमण अलग-अलग आयु वर्ग के लोगों को अलग-अलग गंभीरता से प्रभावित करता है। इस वर्ष सामान्य फ्लू अत्यधिक संक्रामक है और परिवार के सभी सदस्यों को प्रभावित कर सकता है।