गोपालगंज में एक युवक दूध उत्पादन कर लोगों के लिए प्रेरणास्रोत बन गया है। शुरुआती दिनों में कई समस्याओं को झेलते हुए विशाल राम 15 गायों का मालिक बन गया है। दूध का उत्पाद कर सालाना दस लाख की आमदनी कमा रहा है। साथ ही आस-पास के लोग भी उससे दुग्ध उत्पाद की तकनीक सीखते हैं। कई लोगों ने दो-चार गायों के साथ दुग्ध उत्पादन के कारोबार से जुड़ गए हैं। विशाल राम थावे प्रखंड के रामचन्द्रपुर गांव के रहनेवाले हैं।
चार भाइयों में सबसे बड़े विशाल के पिता पेशे से किसान हैं। उन्होंने दस साल पहले दो गाय रख कर दूध का छोटा कारोबार करते थे, तब विशाल बीए की पढ़ाई कर रहा था। विशाल के मन में सरकारी नौकरी करने की इच्छा रहती। लेकिन अचानक एक दिन ऐसा समय आया कि उसने सरकारी नौकरी करने का ख्याल ही मन से निकाल दिया। क्योंकि, जिस नौकरी की चाहत मन में रखा था। उसके लिए पांच लाख घुस मांगी गई।
लेकिन, गरीब किसान का बेटा उतना पैसा देने में असमर्थ था। उसने घूस देने से इनकार कर दिया। उसके मन मे यह ख्याल आया कि क्यों न पिता के हाथ को मजबूत किया जाए। इसी को आगे बढ़ाया जाए ।
दो गाय से शुरू किया कारोबार
विशाल ने दो गाय में अपना भविष्य ढूंढा और लग गया एक बेहतर भविष्य बनाने में। पशुपालन के बारे में उनकी दिलचस्पी बढ़ने लगी। उन्होंने तय किया कि वे अब पशुपालन का ही काम करेंगे। वर्ष 2013 में वे दूध निकालकर आसपास के इलाकों में बेचने लगे। हालांकि शुरुआत में उन्हें ज्यादा मुनाफा नहीं हुआ। शुरुआत में घाटे के बावजूद भी विशाल ने हार नहीं मानी और न ही बिजनेस बदला। उन्होंने तय किया कि इस विषय में पहले जानकारी जुटाई जाए, फिर आगे और बड़े लेवल पर काम को ले जाएंगे। इसके बाद उन्होंने दुधारु नस्लों की गाय-भैंसों की जानकारी ली।
हर दिन 2 क्विंटल दूध का उत्पादन
कुछ एक्सपर्ट से भी मिले और अपने बिजनेस को नए सिरे से शुरू किया। सबसे पहले उन्होंने गिर नस्ल की एक गाय खरीदी और उसकी अच्छी देखरेख और खानपान का ध्यान रखा। इसका फायदा हुआ कि अधिक मात्रा में दूध का प्रोडक्शन होने लगा। इससे उनकी आमदनी बढ़ गई। कुछ दिनों बाद उन्होंने पशुओं की संख्या बढ़ा दी और आज उनके पास 15 पशु हैं। रोजाना दो से ज्यादा क्विंटल दूध का उत्पादन होता है जिससे हर महीने 80 से 90 हजार रुपये की कमाई होती है।
कारोबार से खुश हैं विशाल
विशाल बताते हैं कि मुझे सरकारी नौकरी करना था। लेकिन घुस की मांग की गई पैसे नही थे जिसके कारण नौकरी का ख्याल निकाल दिया और आज खुद का व्यवसाय कर के काफी खुश हूँ। और लोगो को इसकी जानकारी भी देते है। शुरुआत में मुझे इस व्यवसाय का कोई अनुभव नहीं था। इसके चलते मुझे एक साल तक नुकसान उठाना पड़ा। गाय की कौन-सी नस्ल खरीदनी है? उनकी देखरेख कैसे करनी है? उनके खानपान का किस तरह ख्याल रखना है।
मुझे इसकी कोई जानकारी नहीं थी, लेकिन धीरे-धीरे लोगों से बातचीत और प्रयासों से मैंने सीखा और दूध बेचकर मुनाफा कमाना शुरू कर दिया। पशुओं के चारों का खर्च अगर निकाल ले तो भी मुझे हर महीने 80 से 90 हजार रुपए का मुनाफा हो जाता है। रोजाना पशुओ से दो क्विंटल दूध उत्पाद कर पूरे गोपालगंज जिले के बाजारो में सप्लाई की जाती।
मछली पालन भी करने लगे हैं विशाल
विशाल कहते हैं कि सुनने में पशुपालन का काम आसान लगता है, लेकिन ऐसा है नहीं। अच्छे खानपान के अलावा पशुओं के स्वास्थ्य का भी विशेष ख्याल रखना पड़ता है। समय-समय पर इनका मेडिकल चेकअप भी कराता रहता हूं, जिससे कि वे स्वस्थ रहें। इसी मेहनत की वजह से आज मैं अच्छा-खासा पैसा कमा रहा हूं। अब तो कई लोग पशुपालन के लिए मुझसे सलाह लेने भी आने लगे हैं। हालांकि, विशाल को कई बार प्रयास करने के बाद भी सरकार की योजनाओं का लाभ नहीं मिल सका है।
इतना ही नही विशाल दूध उत्पादन के अलावे मछली पालन भी कर रखे है। 20 कट्टा में की गई मछली पालन से वह ढाई लाख की आमदनी कमाता है। हलाकिं, पिछले वर्ष असमाजिक तत्वों की ओर से उसके तलाब में जहर डाल दिया जिससे 6 लाख का नुकसान हुआ बावजूद उसने हार नही मानी और पुनः अपना व्यवसाय शुरू किया