उत्तराखंड राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर स्थानीय विधायक सरिता आर्य द्वारा बलिया नाले पर दिये गये बयान पर बलिया नाला प्रभावित क्षेत्र संघर्ष समिति ने नाराजगी जताई है। समिति के अध्यक्ष नगर पालिका के पूर्व वरिष्ठ उपाध्यक्ष डीएन भट्ट एवं महासचिव इंदर सिंह नेगी ने इस पर विधायक को पत्रकार वार्ता आयोजित कर उन स्थानीय लोगों के नाम सार्वजनिक करने की चुनौती दी है, जिन्होंने बलिया नाला प्रोजेक्ट में ठेकेदारी कर बहुत पैसा कमाया। उन्होंने कहा है कि यदि वह ऐसा नहीं करती हैं तो समझा जाएगा कि वह बलिया नाले में हुए करोड़ रुपये के भ्रष्टाचार में लिप्त लोगों को बचाने में लगी हुई हैं।
समिति की ओर से विधायक सरिता आर्य को संबोधित एवं प्रेस को भी उपलब्ध कराए गए पत्र में कहा गया है कि उत्तराखंड राज्य स्थापना दिवस के कार्यक्रम में विधायक ने बलिया नाले के परिपेक्ष्य में अपने सम्बोधन में सार्वजनिक रूप से यह कहा कि ‘बलिया नाले में स्थानीय लोगों ने ठेकेदारी कर खूब पैसा कमाया, अब ये लोग बलिया नाले की शिकायत कर रहे हैं। तब ये लोग कहां थे’।
पत्र में कहा है कि बलिया नाला प्रभावित क्षेत्र संघर्ष समिति 1985 से स्थानीय निवासियों के साथ मिलकर बलिया नाले के निर्माण, रख-रखाव निर्माण कार्य में हो रही धांधली एवं खराब गुणवत्ता एवं प्रभावित लोगों के पुर्नवास के लिए संघर्षरत है। विधायक के स्थानीय निवासियों पर मिथ्या एवं मनगढ़ंत आरोपों से संघर्ष समिति एवं उससे जुड़े स्थानीय लोगों में अत्यन्त रोष है। इसलिए वह चुनौती देते है कि विधायक अपने कथन के अनुसार पत्रकार वार्ता बुलाकर उन स्थानीय लोगों के नाम प्रमाण सहित सार्वजनिक करें, जिन्होंने बलिया नाला प्रोजेक्ट में ठेकेदारी कर बहुत पैसा कमाया। अन्यथा यह समझा जाएगा कि बलिया नाले में जो करोड़ रुपए का भ्रष्टाचार हुआ है और उसमें जो लिप्त लोग हैं, विधायक उन्हें बचाने में लगी हुई हैं।