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मानव मानव से प्रेम हीं रामराज्य की परिकल्पना : पं. अरविंद तिवारी

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सुहवल के समीप शिव मन्दिर पर आयोजित सात दिवसीय राम कथा में छठवें दिन यानी रविवार को व्यासपीठ से प्रवचन करते हुए युग तुलसी रामकिंकर जी महाराज के शिष्य पं. अरविन्द तिवारी व्यास ने भरत चरित्र पर व्याख्या किया। उन्होंने कहा कि प्रेम, भक्ति और मर्यादा समिश्रण ही भरत को उत्कृष्ट बनाता है।

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