अंकिता भंडारी की अंतिम पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने और परिजनों के एक सदस्य को सरकारी नौकरी दिए जाने की मांग को लेकर परिवारवालों ने अंतिम संस्कार रोक दिया है। परिजनों के इस फैसले से प्रशासन में हड़कंप मच गया है। मौके पर उपस्थित अधिकारी परिजनों को मनाने का प्रयास कर रहे हैं।
ऋषिकेश एम्स अस्पताल में भारी सुरक्षा व्यवस्था के बीच अंकिता का शव पोस्टमार्टम होने के बाद शनिवार की शाम को उसके परिजनों के सुपुर्द कर दिया गया था। प्रशासन ने शव के अंतिम संस्कार की व्यवस्था भी करवा दी थी लेकिन परिवार वालों ने सूर्यास्त के बाद अंतिम संस्कार करने से मना कर दिया और रविवार को अंत्येष्टि करने की बात कही। इसलिए शव को देर रात ऋषिकेश एम्स से लाकर श्रीनगर मेडिकल कॉलेज के शवगृह में रखवा दिया गया।
परिजनों ने रविवार की सुबह सरकार की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाते हुए प्राइमरी पोस्टमार्टम रिपोर्ट में फेरबदल किये जाने की आशंका जताई और अंकिता के शव का अंतिम संस्कार करने से इनकार कर दिया जिससे प्रशासन के हाथ-पांव फूल गए। अंकिता के भाई ने शव का दोबारा पोस्टमार्टम कराने की मांग करते हुए फाइनल रिपोर्ट आने के बाद ही अंतिम संस्कार किये जाने की बात कही है। अंकिता के पिता वीरेंद्र भंडारी का कहना है कि प्रशासन ने जल्दबाजी में रिजॉर्ट में अंकिता का कमरा तोड़ दिया। उसमें सबूत हो सकते थे। अब पोस्टमार्टम की फाइनल रिपोर्ट आन के बाद ही अंकिता की अंत्येष्टि की जाएगी। प्रशासन की टीम अंतिम संस्कार के लिए परिजनों को मनाने में जुटी है।
विकास खंड पौड़ी के ग्राम पंचायत श्रीकोट के राजस्व गांव धूरों की बेटी अंकिता की हत्या के बाद लोगों में आक्रोश बना हुआ है। एसडीएम श्रीनगर अजयवीर सिंह ने बताया कि अंतिम संस्कार के दौरान किसी प्रकार की चूक न हो, इसके लिए पुलिस व प्रशासन ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए हैं। अपर पुलिस अधीक्षक पौड़ी शेखर चंद्र सुयाल ने अंकिता हत्याकांड से जुड़े साक्ष्यों को मिटाए जाने को लेकर सोशल मीडिया में चल रही खबरों को गलत बताया है। उन्होंने कहा कि केस से जुड़े सारे साक्ष्यों को पुलिस ने सुरक्षित रखा है।
मीडिया से बातचीत में उन्होंने कहा कि 22 सितंबर को टीम ने रिजॉर्ट की वीडियोग्राफी कराई थी। 23 सितंबर की सुबह फॉरेंसिक टीम ने अंकिता के कमरे और पूरे रिजॉर्ट से इलेक्ट्रॉनिक व वैज्ञानिक साक्ष्य जुटाकर सुरक्षित कर लिए थे। घटना के संबंध में पुलिस के पास पर्याप्त साक्ष्य हैं जो अपराधियों को सजा दिलाने के लिए काफी हैं। एएसपी ने कहा कि अब मामले की जांच एसआईटी कर रही है। समाचार लिखे जाने तक प्रशासन परिवारजनों को मनाने में लगा हुआ हैl लोगों के भारी रोष को देखते हुए जबरदस्त सुरक्षा की व्यवस्था की गई है।