Share Market: शेयर बाजारों में अप्रैल के बाद से लगातार गिरावट के बावजूद 158 दिनों में हर दिन 79,113 निवेशक बढ़े हैं। बीएसई के आंकड़ों के मुताबिक, 16 मार्च, 2022 को बीएसई में कुल पंजीकृत निवेशकों की संख्या 10 करोड़ थी। बुधवार को यह 1.25 करोड़ बढ़कर 11.25 करोड़ हो गई।
सीएनआई रिसर्च (CNI Research) के चेयरमैन किशोर ओस्तवाल ने कहा, कोरोना के समय से बाजार में अचानक नए निवेशक आने लगे हैं क्योंकि मार्च 2020 में जिस स्तर पर बाजार था, वहां से दोगुना की बढ़त हासिल की है। उस समय जिस किसी ने भी अच्छे शेयरों में पैसा लगाया होगा, उसका रिटर्न दोगुना हो गया है। साथ ही कोरोना के बाद से लोग थोड़ा अतिरिक्त कमाने के लिए शेयर बाजार में निवेश कर रहे हैं।
साल दर साल ऐसे बढ़ी निवेशकों की संख्या
निवेशक साल
एक करोड़ 2 फरवरी, 2008
दो करोड़ 8 जुलाई, 2011
तीन करोड़ 14 जुलाई, 2016
चार करोड़ 10 अगस्त, 2018
पांच करोड़ 23 मई, 2020
छह करोड़ 10 जनवरी, 2021
सात करोड़ 06 जून, 2021
आठ करोड़ 21 सितंबर, 2021
नौ करोड़ 15 दिसंबर, 2021
दस करोड़ 16 मार्च, 2022
2008 के बाद रफ्तार तेज
निवेशकों की बढ़ने की रफ्तार 2008 के बाद तेज हुई है। 2008 में पहली बार एक करोड़ निवेशक हुए थे।
एक करोड़ पहुंचने में लगे 22 साल
बीएसई की शुरुआत 1986 में हुई थी। उसके बाद से पहला एक करोड़ निवेशक का आंकड़ा छूने में 22 साल लगे। 2008 में एक करोड़ का आंकड़ा पहुंचा था। उसके बाद इसमें 14 साल में 11 गुना से ज्यादा की बढ़त आई है।
इस दौरान सेंसेक्स ने भी 62 हजार के आंकड़े का रिकॉर्ड बनाया तो सूचीबद्ध कंपनियों का बाजार पूंजीकरण भी 280 लाख करोड़ रुपये को पार कर गया। ओस्तवाल कहते हैं कि नए निवेशक सस्ते शेयरों में दांव लगाकर अच्छा रिटर्न कमा रहे हैं।