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क्रेडिट कार्ड से ऋण भुगतान रोकना बीमाधारकों के लिए अच्छा, कर्ज के जाल में फंसने से रोकेगा

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सिक्योरनाउ के सह-संस्थापक कपिल मेहता ने कहा, नियामक को यह लगता है कि क्रेडिट कार्ड से बीमा ऋण चुकाने वाले कर्ज के जाल में फंस जाते हैं। उन्होंने कहा, अधिकांश बीमा ऋण 8 से 15 फीसदी दर वाले होते हैं, जबकि क्रेडिट कार्ड की ब्याज दरें 20 फीसदी से ऊपर हो सकती हैं।

कर्ज लौटाने के लिए क्रेडिट कार्ड के इस्तेमाल पर रोक का इरडाई का निर्देश पॉलिसीधारकों को कर्ज के जाल में फंसने से रोकेगा।  बीमा कंपनियों ने बीमा नियामक के इस निर्देश का स्वागत किया है।
भारतीय बीमा नियामक एवं विकास प्राधिकरण (इरडाई) ने हाल के आदेश में सभी जीवन बीमाकर्ताओं से कहा है कि वे बीमा पॉलिसी गिरवी रखकर लिए गए कर्जों को चुकाने में क्रेडिट कार्ड के इस्तेमाल पर फौरन रोक लगाएं। कोटक महिंद्रा लाइफ इंश्योरेंस के अध्यक्ष सुनील शर्मा ने कहा, पॉलिसी पर लिए गए कर्ज पर ब्याज दरें बिना गारंटी वाले व्यक्तिगत ऋण की तुलना में बहुत कम हैं। लिहाजा, ग्राहकों के लिए पॉलिसी ऋण चुकाने को क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल करना वित्तीय समझदारी नहीं होगी।

क्रेडिट कार्ड पर चुकाना पड़ता है अधिक ब्याज
सिक्योरनाउ के सह-संस्थापक कपिल मेहता ने कहा, नियामक को यह लगता है कि क्रेडिट कार्ड से बीमा ऋण चुकाने वाले कर्ज के जाल में फंस जाते हैं। उन्होंने कहा, अधिकांश बीमा ऋण 8 से 15 फीसदी दर वाले होते हैं, जबकि क्रेडिट कार्ड की ब्याज दरें 20 फीसदी से ऊपर हो सकती हैं। आदित्य बिड़ला सन लाइफ इंश्योरेंस के एमडी-सीईओ कमलेश राव ने कहा, यह आदेश पॉलिसीधारकों के सर्वोत्तम हितों को सुनिश्चित करने में मदद करता है।

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