मनी लॉन्ड्रिंग मामले में कस्टडी रिमांड पर लिए जाने के बाद बुधवार को मुख्तार अंसारी से दो चरणों में पूछताछ हुई। प्रवर्तन निदेशालय के अफसरों ने मुख्तार से बेनामी संपत्तियों के संबंध में पूछताछ की। इसके अलावा विकास कंसट्रक्शन के संबंध में भी सवाल पूछे। ईडी के सिविल लाइंस स्थित दफ्तर में मुख्तार से शाम छह बजे के करीब पूछताछ शुरू हुई। ईडी अफसरों ने सबसे पहले बेनामी संपत्तियों के बारे में पूछताछ की। मुख्तार से पूछा गया कि जालौन व गाजीपुर स्थित संपत्तियों को बनाने के लिए रकम कहां से आई।
गौरतलब है कि अक्तूबर में ईडी ने जालौन व गाजीपुर स्थित सात संपत्तियों को अटैच किया था। इनमें से कुछ संपत्तियां मुख्तार की पत्नी के नाम पर भी थीं। इसके बाद विकास कंसट्रक्शन से जुड़े सवाल पूछे गए। पूछा गया कि फर्म के खातों से उसके बेटे अब्बास के खाते में लेनदेन की वजह क्या रही। शाम को शुरू हुई पूछताछ लगातार तीन घंटे तक चली। इसके बाद रात में भी मुख्तार से पूछताछ शुरू हुई। रात 11 बजे के करीब शुरू हुई पूछताछ एक बजे तक चली।
सूत्रों का कहना है कि मुख्तार से उन जानकारियों से जुड़े कुछ ऐसे सवाल भी पूछे गए, जो पिछले दिनों पूछताछ में अब्बास अंसारी और शरजील रजा उर्फ आतिफ से ईडी अफसरों को मिली थीं। इसमें अब्बास की बुंदेलखंड स्थित संपत्तियों व विकास कंसट्रक्शन के नाम पर लिए गए करोड़ों के लोन की रकम के बाबत भी सवाल पूछे गए।
सुरक्षा कारणों से पहले ही भेजा दफ्तर
सूत्राें का कहना है कि सुनवाई के बाद मुख्तार को सुरक्षा कारणों से जल्द ही ईडी दफ्तर के लिए रवाना कर दिया गया। कस्टडी रिमांड की अर्जी पर सुनवाई के कुछ देर बाद ही मुख्तार को रवाना कर दिया गया। कर्नलगंज, घूरपुर, सिविल लाइंस थाने की फोर्स के साथ ही सादे कपड़ों में एसओजी की टीम भी सुरक्षा में लगी रही।
मुख्तार की कस्टडी रिमांड को देखते हुए ईडी दफ्तर को छावनी में तब्दील कर दिया गया है। यहां स्थानीय पुलिस के साथ ही पीएसी के जवानों को भी तैनात किया गया है। पीएसी के जवान तीन अलग-अलग शिफ्टों में तैनात किए गए हैं। इसके अलावा सीओ स्तर के अधिकारी को सुरक्षा व्यवस्था में लगे जवानों की मॉनिटरिंग की जिम्मेदारी दी गई है।
नहीं ले जाया जाएगा जनपद के बाहर
मुख्तार को कस्टडी रिमांड पर लिए जाने के बाद इस बात के भी कयास लगाए जा रहे थे कि उसे मनी लॉन्ड्रिंग केस के सिलसिले में पूछताछ के लिए गाजीपुर व मऊ भी ले जाया जा सकता है। लेकिन सूत्रों का कहना है कि मुख्तार की सुरक्षा को देखते हुए फिलहाल ऐसी कोई भी योजना नहीं है। मुख्तार से जो भी पूछताछ होगी, वह ईडी दफ्तर में ही की जाएगी।
कोर्ट से ईडी दफ्तर ले जाए जाते वक्त मुख्तार की मुस्कुराहट चर्चा का विषय रही। कोर्ट बिल्डिंग से निकलने के बाद उसे परिसर में ही मौजूद कैदी वाहन तक पैदल ही ले जाया गया। इस दौरान वहां बड़ी संख्या में मीडियाकर्मियों का जमावड़ा लगा था। इसी दौरान माफिया मुख्तार कहे जाने पर उसके चेहरे पर मुस्कान बिखर गई।
ईडी दफ्तर में ही हुआ मेडिकल, पहुंचे डॉक्टर
कोर्ट से ईडी दफ्तर ले जाने पर कस्टडी रिमांड की शर्तों के तहत मुख्तार का मेडिकल कराया गया। लेकिन इसके लिए मुख्तार अंसारी को अस्पताल नहीं ले जाया गया। सूत्रों का कहना है कि सुरक्षा कारणों से डॉक्टर को ईडी दफ्तर बुलाया गया और वहीं पर मेडिकल परीक्षण हुआ।