राजन ने ‘आइडियाज फॉर इंडिया’ सम्मेलन में अपने प्रमुख संबोधन में कहा कि भारत के पास सेवा उद्योग में नेतृत्व की भूमिका निभाने की काबिलियत है।
भारतीय रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नर रघुराम राजन अक्सर आर्थिक जगत से जुड़ी सलाह देते नजर आते हैं। इस बार उन्होंने शुक्रवार को कहा कि भारत की वृद्धि का मार्ग इसकी भीतरी ताकत के भरपूर इस्तेमाल और सहिष्णुता एवं सबका सम्मान की ऐतिहासिक संस्कृति के दम पर खुद को वैश्विक आपूर्ति शृंखला के लिए अहम बनाने में निहित
उदार लोकतांत्रिक मूल्य एक आर्थिक आवश्यकता
भारतीय रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नर राजन ने ‘आइडियाज फॉर इंडिया’ सम्मेलन में अपने प्रमुख संबोधन में कहा कि भारत के पास सेवा उद्योग में नेतृत्व की भूमिका निभाने की काबिलियत है। इसके साथ ही उन्होंने इस बात पर बल दिया कि दुनिया का भरोसा हासिल करने के लिए देश के उदार लोकतांत्रिक मूल्य एक आर्थिक आवश्यकता हैं। उन्होंने चीन जैसे सस्ते विनिर्माण देश के साथ प्रतिस्पर्द्धा के संदर्भ में कहा कि भारत को विनिर्माण के सेवा घटक या सीधे तौर पर सेवाओं पर ध्यान देने से फायदा मिलेगा।
विनिर्माण वृद्धि पथ पर आगे जाना है
राजन ने कहा कि अगर हमें विनिर्माण सेवा-निर्देशित वृद्धि पथ पर आगे जाना है तो हमारी स्वतंत्र न्यायपालिका, हमारा उदार लोकतंत्र हमें बढ़त दिलाने वाले पहलू हैं। इसकी वजह यह है कि इसके सहारे हम दुनिया का भरोसा हासिल करने में सफल रहेंगे, यह बेहद जरूरी है। चीन जैसे सस्ते विनिर्माण पड़ोसी के साथ प्रतिस्पर्धा के संदर्भ में, प्रमुख अर्थशास्त्री ने कहा कि भारत एक विश्वसनीय वैश्विक आपूर्तिकर्ता के रूप में विनिर्माण या सेवाओं के सेवा घटक पर अधिक सीधे ध्यान केंद्रित करने से लाभान्वित होगा।
लोकतंत्र को मजबूत करने के लिए अपना होमवर्क करने की आवश्यकता
उन्होंने कहा कि हम भारतीयों के रूप में लोकतंत्र चाहते हैं लेकिन हम यह भी चाहते हैं कि लोकतंत्र दुनिया को यह विश्वास दिलाने में सक्षम हो कि हम पर भरोसा किया जा सकता है, कि हम इस प्रकार की सेवाओं के प्रभावी प्रदाता हो सकते हैं, हमें अपने संस्थानों को मजबूत करने, अपने लोकतंत्र को मजबूत करने के लिए अपना होमवर्क करने की आवश्यकता है।