आईएनएस विक्रांत बचाओ के नाम पर कथित घोटाला मामले में मुंबई पुलिस ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नेता किरीट सोमैया और उनके बेटे नील सोमैया को क्लीन चिट दे दी है। मुंबई पुलिस ने बताया कि इस मामले में कोई सबूत नहीं मिले हैं।
शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) पार्टी के नेता और राज्यसभा सदस्य संजय राऊत ने कहा कि राज्य में सत्ता परिवर्तन के बाद इस घोटाले में क्लीन चिट मिलना ही था। इस मामले में आईएनएस विक्रांत बचाओ के नाम पर लोगों से पैसे वसूले गए थे। पैसा वसूलने वालों ने कहा था कि सभी पैसे राजभवन में भेज दिए गए, लेकिन राजभवन ने बताया कि पैसे मिले नहीं । यह सीधे सीधे घोटाला दिख रहा है। घोटाला भले ही सौ रुपये का हो अथवा पचास लाख का, घोटाला घोटाला ही रहता है। राऊत ने कहा कि भले ही इस सरकार ने मामले की जांच रोक दिया है, उनकी सरकार आने पर इस मामले की वापस जांच करवाई जाएगी। इसका कारण यह देश की सुरक्षा से जुड़ा मुद्दा है।
हालांकि भाजपा किरीट सोमैया ने कहा कि संजय राऊत को जो कहना है, कोर्ट में जाकर अपनी बात रखनी चाहिए। राऊत ने उनके उपर इस तरह का आरोप उद्धव ठाकरे के कहने पर लगाया था।
दरअसल, संजय राऊत ने पत्रकार वार्ता जारी कर किरीट सोमैया और उनके बेटे नील सोमैया पर आईएनएस विक्रांत को बचाने के लिए जनता से 2013 में चंदा एकत्र करने का आरोप लगाया था। इस मामले की शिकायत पूर्व सैनिक बबन भोसले ने 7 अप्रैल, 2022 को दर्ज कराई थी। मुंबई सेशन कोर्ट ने इस मामले में सोमैया पिता – पुत्र को अग्रिम जमानत देने से इंकार कर दिया था। इसलिए किरीट सोमैया इस मामले में हाई कोर्ट में अग्रिम जमानत मांगा था। हाई कोर्ट ने किरीट सोमैया और नील सोमैया को अग्रिम जमानत दे दिया था। इसके बाद मुंबई क्राईम ब्रांच ने किरीट सोमैया और नील सोमैया से पूछताछ की थी।